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पर्यावरण

नून नदी को पुनर्जीवित करने की मुहीम रंग लाई

नून नदी को पुनर्जीवित करने की मुहीम रंग लाई

यमुना कछार इलाके में यमुना की सहायक नदी के रूप में सूखी नोन नदी को पुनर्जीवित करने के प्रयास रंग ला रहे हैं| स्थानीय प्रशासन, नागरिकों और जनप्रतिनिधियों की मेहनत का ही नतीजा है कि नदी पांच किलोमीटर से अधिक के क्षेत्र में दोबारा बहने लगी है| इसमें मानसून के जल के उपयोग ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है| पूरे मामले में नदियों को पुनर्जीवित करने के अभियान में जुटे नदी पुत्र रमन कांत त्यागी का कहना है नून नदी को जिस प्रकार से पुनर्जीवित किया जा रहा है| वो सभी नदियों को बचाने में एक माडल साबित होगा|   नदी…
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अक्षय ऊर्जा एजेंसी  ने म्यूनिख में  दिखाया उजियारे भविष्य का रास्ता

अक्षय ऊर्जा एजेंसी  ने म्यूनिख में  दिखाया उजियारे भविष्य का रास्ता

भारतीय अक्षय ऊर्जा विकास एजेंसी (इरेडा) ने म्यूनिख, जर्मनी में आयोजित हुए तीन-दिवसीय इंटरसोलर यूरोप 2023 प्रदर्शनी में हिस्सा लिया। भारत सरकार के नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय के प्रशासनिक नियंत्रण के अंतर्गत आने वाली एक मिनी रत्न कंपनी (श्रेणी-1) इरेडा ने आगंतुकों को संगठन के बारे में जानकारी प्रदान करने हेतु इस प्रदर्शनी में एक मंडप स्थापित किया था। मंडप में आगंतुकों को नवीकरणीय ऊर्जा परियोजनाओं के वित्तपोषण, ऊर्जा दक्षता को बढ़ावा देने और भारत द्वारा नवीकरणीय ऊर्जा क्षेत्र के विकास को समर्थन प्रदान करने में इरेडा की पहल के बारे में विस्तार से जानकारी प्राप्त करने का अवसर…
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जनप्रयास से लोककथाओं से निकल पुनर्जीवित हुई नीम नदी : पीएम के मन की बात

जनप्रयास से लोककथाओं से निकल पुनर्जीवित हुई नीम नदी : पीएम के मन की बात

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने मन की बात कार्यक्रम में नीम नदी को पुनर्जीवित करने में आम लोगों के प्रयासों की सरहाना की। पीएम मोदी ने देश में विलुप्त हो रही नदियों, नालों एवं तालाबों को अपने पुराने स्वरूप में लाने के लिए सभी की सहभागिता को जरूरी बताया। रविवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मन की बात कार्यक्रम के 102वें संस्करण में चार दशक से विलुप्त हो रही  नीम नदी के पुनर्जीवित करने के प्रयास की चर्चा की। उन्होंने कहा कि नीम नदी और गांव दत्तियाना के सरोवर महाभारत काल से प्रसिद्ध बताए जाते हैं लेकिन, समय के साथ…
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बेतरतीब विकास : दरकते पहाड़, सिसकती धरती

बेतरतीब विकास : दरकते पहाड़, सिसकती धरती

मनीष शुक्ल कहानी दशकों पुरानी है| बदस्तूर जारी है| समय के साथ दर्द, पीड़ा और पलायन बढ़ता जा रहा है| रिपोर्ट पर रिपोर्ट जारी हो रही हैं लेकिन कहानी है जो ख़त्म होने का नाम ही नहीं ले रही है| ये कहानी है हमारे पहाड़ी राज्यों के बेतरतीब विकास की| जिसकी वजह से पहाड़ दरक रहे हैं| धरती सिसक रही है| इस आपदा की कहानी को ख़त्म करने के लिए रहत पैकेज दिए जा रहे हैं| जांचें और आयोग बनाकर दायित्वों की इतिश्री हो रही है| पर मर्ज बढ़ता ही जा रहा है|   बात ठीक बीस साल पहले की…
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ग्रीन स्कूलों में मिले पर्यावरण का पाठ

ग्रीन स्कूलों में मिले पर्यावरण का पाठ

करोना काल के बाद से अब तक जिस तरह से समूची दुनियां में प्रकृति का प्रकोप जारी|  महामारी, भूकंप से लेकर पर्यावरण असंतुलन ने धरती को हिलाया है| उससे समूची दुनियां आज ग्रीन इन्वायरमेंट की जद्दोजहद में जुट गई है| भारत में सेंटर फॉर इन्वायरमेंट साइंसेज ने इस दिशा में देशभर में ग्रीन स्कूलों को सम्मानित किया है| आइये समझते हैं ग्रीन स्कूल है क्या?   एक 'ग्रीन' स्कूल में निम्नलिखित शामिल हो सकते हैं, लेकिन यह सीमित नहीं है: 15 प्रतिशत से अधिक का विंडो टू फ्लोर रेश्यो (डब्ल्यूएफआर)। अधिकांश आबादी परिवहन के स्थायी और गैर-प्रदूषणकारी साधनों (सार्वजनिक परिवहन,…
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जोशीमठ ही नहीं पूरे हिमालय को ‘विकास’ से बचाना होगा

जोशीमठ ही नहीं पूरे हिमालय को ‘विकास’ से बचाना होगा

देवभूमि के इसी स्थान पर कभी शंकराचार्य जी ने तप करके ज्योतिर्पीठ स्थापित की थी! यह स्थान भगवान बद्रीनाथ का प्रवेश द्वार भी है! पर हिन्दू आस्था के प्रतीक जोशीमठ की जमीन आज बेतरतीब विकास की बलि चढ़ रही है! यहाँ अब तक 600 से ज्यादा घरों टूट चुके हैं! हजारों परिवार विष्थापन की कगार पर हैं! उत्तराखंड के मुख्यमंत्री ने यहाँ दौरा कर आपात स्थिति का एलान कर दिया है!  केंद्र सरकार की गठित टीम अब मौके पर जाकर भयावह हालात का जायजा ले रही है! लेकिन दशकों से चले आ रहे खतरे का बावजूद विकास की अंधी दौड़…
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हफ्ते में दो बार भूकंप, दिल्ली में खतरे की घंटी

हफ्ते में दो बार भूकंप, दिल्ली में खतरे की घंटी

दिल्ली-एनसीआर में शनिवार को एक हफ्ते में दूसरी बार भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए। जैसे ही लोगों ने भूकंप के झटके महसूस किए वह घरों व ऑफिसों से बाहर निकलने लगे। करीब 30 से 40 सेकंड तक यह भूकंप के झटके महसूस किए गए। कमरों में पंखे हिलने लगे और गिलास में रखा पानी हिल रहा था। यूपी-उत्तराखंड के कई जिलों में यह झटके महसूस किए गए हैं। बताया जा रहा है कि भूकंप की तीव्रता 5.4 मापी गई थी। भूकंप का केंद्र नेपाल का शिलांग बताया गया है। इससे पहले उत्तराखंड में बुधवार सुबह करीब 6.27 बजे…
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छोटे किसान, बड़ी समस्याएं… सिस्टम का इंतजार, खुद तलाशा समाधान

छोटे किसान, बड़ी समस्याएं… सिस्टम का इंतजार, खुद तलाशा समाधान

एमपी की राजधानी भोपाल से सटे गांवों में किसानों के जज्बे की कहानी मनीष शुक्ल वरिष्ठ पत्रकार ये काहनी मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल से सटे दो गांवों की है। दोनों अपने- अपने तरीके से जलवायु परिवर्तन से लेकर फसल चक्र में हो रहे बदलाव से लड़ रहे हैं। वो अपने तरीके से कृषि कैलेंडर बनाकर इन  चुनौतियों से निपटने का रास्ता बना रहे हैं। हालांकि एक गाँव को फिलहाल सिस्टम के पटरी पर आने का इंतजार है तो दूसरे गाँव के लोगों ने अपनी मजबूरी को अपना हथियार बनाकर सिस्टम को मजबूत बनाने में अपना योगदान दिया है। सेंटर फॉर…
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वायु प्रदूषण से घटती जिंदगानी

वायु प्रदूषण से घटती जिंदगानी

अरविंद जयतिलक एनर्जी पालिसी इंस्टिट्यूट एट द यूनिवर्सिटी आफ शिकागो (एपिक) का यह खुलासा चिंतित करने वाला है कि बढ़ते प्रदूषण के कारण लोगों की जिंदगी घट रही है। एपिक के एयर क्वालिटी लाइफ (एक्यूएलआई) इंडेक्स के मुताबिक प्रदूषण के कारण भारत में लोगों की जिंदगी पांच वर्ष कम हो रही है। रिपोर्ट के मुताबिक गंगा के मैदानी इलाकों में सबसे अधिक प्रदूषण है लिहाजा यहां 7.6 साल जिंदगी कम हो रहा है। अभी गत वर्ष ही इसी संस्था ने खुलासा किया था कि भारत में बढ़ते प्रदूषण के कारण 40 फीसदी भारतीयों की जीवन प्रत्याशा नौ साल से ज्यादा…
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खतरनाक होगा जलवायु परिवर्तन की अनदेखी

खतरनाक होगा जलवायु परिवर्तन की अनदेखी

अरविंद जयतिलक संयुक्त राष्ट्र द्वारा जारी इंटरगवर्नमेंटल पैनल (आईपीसीसी) की रिपोर्ट चिंतित करने वाला है कि पृथ्वी के बढ़ते तापमान से मानव समुदाय को खाद्य पदार्थ व पेयजल की कमी से लेकर आर्थिक नुकसान व बीमारियों सरीखे कई अन्य अप्रत्याशित संकटों का सामना करना पड़ सकता है। रिपोर्ट में दावा किया गया है कि जलवायु परिवर्तन से तटीय क्षेत्रों में समुद्र का जलस्तर उठेगा और इस कारण होने वाले नुकसान में विेश्व के 20 देशों में तकरीबन 12 देश एशिया के ही होंगे। रिपोर्ट के मुताबिक इन देशों के तकरीबन 3.5 करोड़ लोग बुरी तरह प्रभावित होंगे। इसमें भारत भी…
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